कुंदन
हावड़ा. बाली थाना की पुलिस ने एक महिला के साथ दुष्कर्म करने और उसके नवजात बच्चे को बेचने के आरोप में कुल सात आरोपियों को गिरफ्तार किया है. आरोपियों में दो दंपती भी शामिल हैं. आरोपियों के नाम गिरिराज खेतान, शंकर प्रसाद, विष्णु शर्मा, स्वाति शर्मा, राजेश गुप्ता, शताब्दी गुप्ता और मनीश हैं. पुलिस ने एक दपंती के घर छापेमारी करते हुए बच्चे को अपने हिफाजत में ले लिया है. पीड़िता के बयान के आधार पर पुलिस आरोपियों से पूछताछ करके मामले की जांच में जुटी है.
क्या है मामला-
20 वर्षीय पीड़िता गिरिराज खेतान के घर सिलाई का काम करती थी. गिरिराज के घर उसके साथी शंकर का आना जाना था. बताया जा रहा है कि दोनों ने पीड़िता के साथ कई बार शारीरिक संबंध बनाये. शंकर ने उसे शादी का प्रस्ताव भी दिया था. इसी बीच पीड़िता गर्भवती हो गयी. हालांकि बताया जा रहा है कि वह पहले से गर्भवती थी. पिछले दिनों प्रसव पीड़ा उठने के बाद दोनों ने पीड़िता को सलकिया के एक नर्सिंग होम में भरती कराया, जहां उसने एक बच्चे को जन्म दिया. अस्पताल से डिस्चार्ज होने के बाद गिरिराज और शंकर ने बच्चे को बेच देने के लिए पीड़िता पर दवाब बनाया, लेकिन वह तैयार नहीं हुई. इसी बीच एक दिन पीड़िता बच्चे को लेकर अपने रिश्तेदार के घर कोलकाता जा रही थी कि इस समय गिरिराज, शंकर, विष्णु शर्मा और स्वाति शर्मा ने उसका रास्ता रोका और जबरन बच्चे को छीन लिया. आरोप है कि चारों ने पीड़िता से एक स्टॉप पेपर पर हस्ताक्षर भी करवा लिया. बुधवार को पीड़िता बाली थाना पहुंची और पूरी घटना की जानकारी पुलिस को दी. पुलिस ने मामले की जांच शुरू की. पुलिस को पता चला कि बच्चा मालीपांचघड़ा थाना अंतर्गत सलकिया इलाके में निसंतान दंपती राजेश गुप्ता और शताब्दी गुप्ता के पास है. पुलिस दंपती के घर पहुंची और बच्चे को अपने हिफाजत में लेकर दोनों को गिरफ्तार कर लिया. इसके बाद एक-एक करके बाकी पांच आरोपी भी गिरफ्तार किये गये. बताया जा रहा है कि विष्णु शर्मा और स्वाति शर्मा ने बच्चे को राजेश गुप्ता और शताब्दी गुप्ता के पास बेच दिया था. पुलिस सभी आरोपियों से पूछताछ कर मामले की जांच में जुटी है.
इस घटना में अनुपम सिंह, डीसीपी नॉर्थ ने बताया कि कुल सात गिरफ्तार हुए हैं. प्राथमिक जांच में यह खुलासा हुआ है कि बच्चे को बेचने के मामले में रुपयों को लेन-देन हुआ है, लेकिन कितने रुपये में बच्चे को बेचा गया है, यह जांच का विषय है. आरोपी गिरिराज खेतान का झंडा बनाने का व्यवसाय है और पीड़िता यहां सिलाई का काम करती थी. पीड़िता विवाहित है और अप्रैल महीने में बच्चे का जन्म हुआ है. इस पूरे मामले में पीड़िता की भूमिका की जांच की जा रही है.