कोलकाता : बीएसएफ के दक्षिण बंगाल फ्रंटियर के तहत उत्तर 24 परगना जिले में सीमा चौकी घोजाडंगा में तैनात 153वीं वाहिनी की एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट (AHTU) ने बशीरहाट पुलिस और मैरी वार्ड सोशल सेंटर नामक एनजीओ के साथ मिलकर सीमावर्ती स्कूलों के छात्रों को बाल अपराधों व साइबर धोखाधड़ी के बारे में जागरूक किया। बीएसएफ ने एक बयान में बताया कि यह कार्यक्रम बशीरहाट टाउन हाल में सोमवार को आयोजित किया गया।कार्यक्रम में बीएसएफ की एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट (AHTU), डीसी, मुख्यालय बशीरहाट, आइसी, पुलिस स्टेशन बशीरहाट, आइसी साइबर सेल सहित 50 से अधिक स्वयंसेवकों और 20 पुलिसकर्मियों ने भाग लिया। इसके अलावा 100 स्थानीय नौजवान युवक–युवतियों और कोलकाता मैरी वार्ड सोशल सेंटर (एनजीओ) के 10 सदस्यों ने इस जागरूकता कार्यक्रम में हिस्सा लिया और बच्चों को संबोधित किया।
जागरूकता अभियान का उद्देश्य लोगों को साइबर अपराध, बाल तस्करी, बाल विवाह और बाल शोषण के बारे में जागरूक करना था। अधिकारियों ने बताया कि यह कार्यक्रम सफलतापूर्वक संपन्न हुआ और वहां उपस्थित लोगों ने आयोजकों के प्रयासों की सराहना की।
नदिया जिले में भी आयोजित हुआ जागरूकता कार्यक्रम
इसके अलावा उसी दिन इसी तरह का एक और जागरूकता कार्यक्रम नदिया जिले में तैनात रामनगर की एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट (AHTU) ने सीमा चौकी बोर्नबेरिया, 08वीं वाहिनी के इलाके में चाइल्ड लाइन एनजीओ और श्रीमा महिला समिति, दत्तापुलिया के साथ मिलकर आयोजित किया। इस कार्यक्रम में शामिल हुईं महिलाओं और पुरुषों को मानव तस्करी, बाल विवाह, बाल मजदूरी और लिंग भेद के बारे में जानकारी दी गई।बीएसएफ, दक्षिण बंगाल फ्रंटियर के प्रवक्ता ने ऐसे कार्यक्रमों के महत्व पर जोर दिया और कहा कि बीएसएफ मानव तस्करी और बाल अपराधों को रोकने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि बाल अपराध, साइबर अपराध और मानव तस्करी जैसे जघन्य अपराधों पर अंकुश लगाने के लक्ष्य के साथ बीएसएफ गैर सरकारी संगठनों के सहयोग से विभिन्न सीमावर्ती क्षेत्रों में जागरूकता अभियान चला रहा है।